

Mangal dosh nivaran pujan in Ujjain *पिप्पलाद मुनि* पिप्पलाद मुनि को भी शिव जी का अवतार माना गया है। वे दधीचि ऋषि के पुत्र थे। दधीची अपने 'पुत्र को बचपन में ही छोड़कर चले गए थे। एक दिन पिप्पलाद ने देवताओं से इसकी वजह से पूछी तो देवताओं ने कहा कि शनि की वजह से ऐसा कुयोग बना था, जिसकी वजह से पिता-पुत्र बिछड़ गए। ये सुनकर पिप्पलाद ने शनि को नक्षत्र मंडल से गिरने का शाप दे दिया। शाप की वजह से शनि गिरने लगे तो देवताओं की शनि को क्षमा करने की प्रार्थना पिप्पलाद जी से की। तब पिप्पलाद ने शनि को किसी व्यक्ति को जन्म के बाद 16 साल कष्ट न देने का निवेदन किया था, शनि ये बात मान ली। इसके बाद से पिप्पलाद मुनि का नाम लेने से शनि दोष दूर हो जाते हैं।
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